सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकियों (आईसीटी) को विश्वभर में सरकारों द्वारा सामाजिक-आर्थिक विकास के महत्वपूर्ण परिचालकों के रूप में स्वीकार किया गया है। सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकियां सर्व-व्यापक हो गई हैं तथा हमारी अर्थव्यवस्थाओं, समाजों और जीवन को रूपांतरित कर रही हैं। ये प्रौद्योगिकियां, नई सेवाओं और अनुप्रयोगों के प्रति सदैव विस्तृत होती उम्मीदों के साथ गति बनाए रखने के लिए तीव्र गति से प्रगति करती रहती हैं। इनकी गति इतनी तीव्र होती हैं कि प्रौद्योगिकी परिदृश्य प्रत्येक कुछ ही वर्षों में रूपांतरित हो जाता है।
दूरसंचार विभाग का नेटवर्क और प्रौद्योगिकी (एनटी) प्रकोष्ठ,जो 2010 में अस्तित्व में आया है, देश में नई एवं उभरती प्रौद्योगिकियों से संबंधित नीति एवं विनियामक पहलुओं से संबंधित कार्य करता है। दूरसंचार विभाग मुख्यालय स्थित एनटी प्रकोष्ठ के प्रयासों में देश भर में फैली एनटी की फील्ड यूनिटें सहायताकरती हैं। इस समय प्रकोष्ठ के प्रमुख कार्यों में निम्नलिखित शामिल हैं:
- नेक्स्ट जेनरेशन इंटरनेट प्रोटोकाल अर्थात् आईपीवी6 में चरणबद्ध और समयबद्ध तरीके से अवस्थांतर हेतु नीति निर्माण तथा उसे सुविधाजनक बनाना।
- मशीन से मशीन (एम2एम) संचार से जुड़े नीति एवं विनियामक पहलु।
- नेट-तटस्थता से उद्भूत नीति एवं तकनीकी मुद्दे।
- एनटीपी-2012 के अनुसार क्लाउड कम्प्यूटिंग के संबंध में नीतिगत पहल।
इसके अतिरिक्त, एनटी प्रकोष्ठ, उभरती हुई प्रौद्योगिकियों, जैसे टीवी व्हाइट स्पेस (टीवीडब्ल्यूएस), लाइट फिडलिटी (एलआईएफआई) आदि जो देश की दूरसंचार ईको-पद्धति के लिए लाभदायक हैं, के क्षेत्र में होने वाले वैश्विक विकास पर निगाह रखता है।